सरकारी नौकरी दिलाने वाले साल्वर गैंग का पर्दाफाश, आजमगढ़ पुल‍िस ने 4 को पकड़ा, 10 लाख में करते थे डील

सरकारी नौकरी दिलाने वाले साल्वर गैंग का पर्दाफाश, आजमगढ़ पुल‍िस ने 4 को पकड़ा, 10 लाख में करते थे डील

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शहर कोतवाली पुलिस व एसओजी की संयुक्त कारवाई में प्रतियोगी परीक्षाओं के साल्वर गैंग के वांछित चार आरोपित गिरफ्तार किए गए हैं। सभी बिहार व गाजीपुर के रहने वाले हैं।

इनके पास से एक अर्टिका कार, छह मोबाइल फोन, एक कूटरचित आधार कार्ड, तीन एडमिट कार्ड व एक प्रश्न पुस्तिका पुल‍िस ने बरामद क‍िया है। बिहार का आरोपित प्रतियोगी परीक्षा पास कराने के लिए 10 लाख रुपये में डील करता था। परीक्षा में पास कराने के साथ ही नाैकरी दिलाने का भी ठेका लेता था।

पुलिस अधीक्षक हेमराज मीना ने सोमवार को प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि शिब्ली नेशनल कालेज परीक्षा केंद्र में यूपीसीसीएससीआर (UPCCSCR) 2024-25 की परीक्षा संचालित की जा रही थी। केंद्राध्यक्ष के प्रार्थना पत्र के आधार पर चार जनवरी को प्रथम पाली की परीक्षा में कक्ष संख्या-103 में गाजीपुर जिले के ग्राम मऊपारा देवकली निवासी अनूप सागर शामिल हुआ। उसके आधार वेरिफिकेशन प्रक्रिया में केवाईसी अपडेट न हो पाने के कारण डाटा का मिलान नहीं हो पा रहा था।

पुलि‍स ने सख्‍ती से की पूछताछ

संदेह होने पर जब पूछा गया तो पहले स्वीकार करने से मना कर दिया एवं स्वयं को अनूप सागर बताया लेकिन जब परीक्षा केंद्र पर तैनात पुलिस बल की सहायता से सख्ती से पूछताछ की गई तो उसने अपना सही नाम विकास कुमार निवासी असनिया कुआं, थाना कदम कुआं, पटना बिहार बताया। अनूप सागर के स्थान पर फर्जी अभ्यर्थी बनकर परीक्षा में शामिल विकास कुमार ने यह भी बताया कि कुछ पैसों के बदले उसने यह काम किया है।

ग‍िरफ्तार आरोप‍ियों में ये शाम‍िल

गिरफ्तार आरोपितों में चार जनवरी को साल्वर विकास कुमार उर्फ राकेश कुमार, पांच जनवरी को परीक्षार्थी अनूप सागर एवं छह जनवरी को रामप्रवेश यादव निवासी गाजीपुर, सुनील कन्नौजिया निवासी गाजीपुर, अंकित गुमा निवासी बिहार (साल्वर), अमित कुमार कन्नौजिया निवासी गाजीपुर (परीक्षार्थी) को गिरफ्तार किया गया है। इस मामले में शहर कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

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साल्वर गैंग का है एक संगठित गिरोह

पुलिस अधीक्षक के अनुसार, पकड़े गए आरोपित रामप्रवेश यादव निवासी गाजीपुर ने बताया कि दुर्गेश तिवारी बिहार के साथ मिलकर उत्तर प्रदेश में प्रतियोगी परीक्षाओं में परीक्षार्थियों के स्थान पर बैठने के लिए साल्वर की व्यवस्था कराता हूं। जिसमें विक्की कुमार की सहायता से परीक्षार्थियों के आधार कार्ड में फोटो परिवर्तित कराकर साल्वर को बैठने के लिए भेजता हूं। राम प्रवेश यादव ने यह भी बताया कि वर्ष 2021 के पूर्व से ही नौकरी दिलाने के लिए लोगों को फंसाता था और उनसे डील करके उनके स्थान पर साल्वर को बैठाकर परीक्षा दिलवाता था।10 लाख में होती थी डील

विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में अभ्यर्थियों के स्थान पर साल्वर बैठाकर फर्जी तरीके से नौकरी दिलाने का कार्य हम सभी लोग मिलकर करते हैं। हमारा एक संगठित गिरोह है। जिनके साथ मिलकर पूर्व से ही फर्जी तरीके से प्रतियोगी परीक्षाओं में परीक्षार्थी के स्थान पर साल्वर को बैठाकर यह कार्य हम सभी मिल कर रहे हैं। प्रतियोगी परीक्षाओं में परीक्षार्थी के स्थान पर साल्वर को बैठाने के नाम पर लगभग 10 लाख रुपये में डील तय होती थी।

फर्जी तरीके से परीक्षार्थियों के स्थान पर बैठते थे

इसमें से दाे लाख रुपये परीक्षा देने से पहले और शेष रुपये परीक्षा देने के बाद लिए जाते थे। इस कार्य में दुर्गेश तिवारी मुख्य भूमिका अदा करते थे। दुर्गेश तिवारी बिहार से साल्वर व फर्जी आधार कार्ड तैयार कराकर प्रतियोगी परीक्षाओं में बैठने के लिए साल्वर की व्यवस्था करते हैं। उत्तर प्रदेश में मेरे अलावा सुनील कन्नौजिया, बबलू यादव, श्रवण कुमार यादव, सूर्यकांत कुशवाहा उर्फ पिंटू प्रतियोगी परीक्षाओं में बैठने के लिए परीक्षार्थियों व कंडीडेट की तलाश कर उनके साथ डील कर दुर्गेश तिवारी के साथ मिलकर योजना बनाकर फर्जी तरीके से परीक्षार्थियों के स्थान पर साल्वर बैठाने का कार्य किया जाता है।