रायबरेली-वाह रे बिजली विभाग:7 लाख 77 हजार रुपए आया बिजली का बिल , ठीक करने के लिए मांग रहे रिश्वत,,,,,,?

रायबरेली-वाह रे बिजली विभाग:7 लाख 77 हजार रुपए आया बिजली का बिल , ठीक करने के लिए मांग रहे रिश्वत,,,,,,?
रायबरेली-वाह रे बिजली विभाग:7 लाख 77 हजार रुपए आया बिजली का बिल , ठीक करने के लिए मांग रहे रिश्वत,,,,,,?

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 रिपोर्ट-सागर तिवारी


ऊंचाहार-रायबरेली-सूबे के सरपरस्त योगी आदित्यनाथ की ज़ीरो टॉलरेंसन की धज्जियाँ उड़ते देखना है तो ऊंचाहार आईए। यहां बिजली विभाग के अधिकारियों की लालच और रसूख के चलते गलत बिल सही कराने को लेकर एक उपभोक्ता दो साल से अधिकारियों के चौखट की खाक छान रहा है। बिजली विभाग के अधिकारी बिल दुरुस्त कराने के नाम पर रुपए मांग रहे रहे हैं तो वहीं पुलिस उसे दुत्कार कर भगा देती है। दर्जनों अधिकारियों से सैकड़ों शिकायत के बाद भी समस्या का समाधान नहीं हुआ। बिजली विभाग के न सिर्फ कर्मचारी अपितु आला अधिकारी भी रिश्वत न देने पर एफआईआर कराने की धमकी देते हैं। इससे आहत होकर उपभोक्ता का पूरा परिवार सकते में है। 
        रायबरेली के ऊंचाहार में बिजली विभाग द्वारा एक उपभोक्ता को 7 लाख 77 हजार रुपए का बिल दिया गया है। मजरे गंगौली के रहने वाले सरजू प्रसाद के मीटर की रीडिंग 3626 यूनिट है। इस रीडिंग के अनुसार उनका वास्तविक बिल 18-19 हजार रुपए के करीब होना चाहिए।
सरजू प्रसाद पिछले दो वर्षों से बिल में सुधार के लिए विभाग के चक्कर लगा रहे हैं। इस दौरान उन्हें 40-50 हजार रुपए का आर्थिक नुकसान हुआ है। विभागीय अधिकारी उन पर गलत बिल जमा करने का दबाव डाल रहे हैं।
उपभोक्ता ने मुख्यमंत्री जनसुनवाई पोर्टल पर कई बार शिकायत की है। विभाग ने 30 अप्रैल को मीटर जांच के बाद बिल सुधार का आश्वासन दिया। मीटर लैब की जांच रिपोर्ट 16 अप्रैल को ही आ चुकी थी।
अधिकारी उपभोक्ता से 1.5 से 2 लाख रुपए की रिश्वत की मांग कर रहे हैं। वे धमकी दे रहे हैं कि रिश्वत नहीं देने पर पूरे 7.77 लाख रुपए जमा करने होंगे। सरजू प्रसाद एकमुश्त समाधान योजना का लाभ लेना चाहते थे। लेकिन अधिकारियों के कारण यह सुविधा भी नहीं मिल सकी।
उनके घर पर कोई नहीं होने पर किसी ने उनका बिजली मीटर काट दिया। पुलिस ने एफआईआर दर्ज करने से मना कर दिया। पुलिस ने उन्हें बिजलीअधिकारियों की मनमानी से परेशान है बिजली उपभोक्ता विभाग की तरफ भेज दिया। अब उनका विद्युत कनेक्शन बार-बार काटा जा रहा है।