Raibareli-जल निकासी के नाले पर बनी अवैध बहुमंजिला इमारत के चलते नहीं पड़ पा रही है सीवर लाइन

Raibareli-जल निकासी के नाले पर बनी अवैध बहुमंजिला इमारत के चलते नहीं पड़ पा रही है सीवर लाइन

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रिपोर्ट-अमित अवस्थी

 कुंभकरणी  नींद में सोया बछरावां नगर पंचायत लाखों की आबादी के साथ नहीं है कोई सरोकार चंद अरबपतियों के साथ हाथ मिलाकर नगर पंचायत में करा दिया अपने ही जल निकासी के नाले पर अवैध कब्जा ,,,


 बछरावां रायबरेली  ।  विगत लगभग डेढ़ दशक से बछरावां नगर पंचायत के निवासी बरसात के दिनों में जलभराव की स्थिति से गुजर रहे हैं हालात यह हैं कि लोगों के घरों में पानी घुस जाता है मजबूरन इन घरों में रहने वाले लोग चारपाई अथवा तखत पर खाना बनाने तक के लिए मजबूर हो जाते दरअसल बछरावां नगर पंचायत के अंदर स्थित अधिकांश तालाब पाट लिए गए उन पर अवैध कब्जा लोगों ने कर लिए हैं   नतीजा यह हुआ कि पुराना बछरावां जल भराव से दो-चार होने लगा । नया  बछरावां जो कभी अभिलेखों में गिरधारा गंज के रूप में जाना जाता था मुख्य बाजार से आगे बढ़कर आदि नगर कुटी शांति नगर स्टेशन रोड जैसी बस्तियों में फैल गया इस क्षेत्र के अंदर कभी सेहंगो नीम टीकर कसरावां  क्षेत्र तक का पानी विभिन्न नाली नालो से होकर आता था और बुलाकेस्वर मंदिर के पास स्थित तालाब में गिरता था वहां से आगे चलकर यह पानी की टंकी के पास स्थित तालाब मे पहुंचता था मौजूदा समय में यह तालाब भी आधे से अधिक पटचुका है बरसात का पानी इस तालाब के आगे स्थित एक नाले के द्वारा मौजूदा गौतम बुद्ध पार्क  के पास से होकर लखनऊ मार्ग को  पार करता था आगे रेलवे लाइन पारकर राजा मऊ तथा लालगंज मार्ग को से होकर बन्नावा के पास स्थिति ड्रैन से  निकल जाता था जलभराव की स्थिति पैदा नहीं होती थी परंतु बढ़ती धनलिप्सा तथा बढ़ती आबादी के कारण जगह-जगह मकान बन गए हालांकि कूटी मोहल्ले के अंदर नगर पंचायत द्वारा जल निकासी के लिए नाला बना दिया गया जो बरसात के पानी को  पानी टंकी वाले तालाब तक पहुंचा देता है बाईपास में इस जल निकासी के लिए कोई व्यवस्था नहीं की गई ।  जिन स्थानों से पानी निकलता था वहां लोगों ने अवैध कब्जा कर लिया सबसे बड़ी विडंबना तो यह रही यह बरसात का पानी जहां लखनऊ मार्ग को पार करता था वहां नगर पंचायत द्वारा बनवाया गया नाला आज भी मौजूद है एनएच वालों ने भी इस नाले को बरकरार रखा परंतु अफसोस की बात यह रही की इस नाले के ऊपर नगर पंचायत के एक धन्ना सेठ द्वारा 4 मंजिल की इमारत खड़ी कर दी । क्षेत्र के कुछ संभ्रांत व्यक्तियों द्वारा जब इस नाले के बारे में आरटीआई डाली गई तो नगर पंचायत ने लिखित रूप में बताया की एक बहुमंजिला इमारत नाले के ऊपर बना दी गई है इस इमारत के अंदर एक बैंक सहित कई प्राइवेट कार्यालय मौजूद हैं और लाखों रुपया किराए के रूप में भवन मालिक को प्राप्त हो रहा है सवाल ये उठता हाय  कि जिस समय इस नाले के ऊपर बहुमंजिला इमारत बनाई गई उस समय बछरावां नगर पंचायत के कर्णधार लोग सो रहे थे प्रशासन के अधिकारी भी मौन रहे आखिर इसके पीछे राज क्या था उक्त धन्ना सेठों की दबंगई या धन की हनक यह तो उस समय के जिम्मेदार लोग ही बता सकते हैं परंतु आज हालात यह हैं कि उक्त इमारत के कारण बछरावां नगर पंचायत के हजारों लोग इसका खामियाजा भुगत रहे हैं सबसे हास्यास्पद बात तो यह है कि नगर पंचायत के कुछ जिम्मेदार लोगों द्वारा दलील दी जा रही है की इमारत के नीचे बने नाले से पानी निकलता है उनकी इस दलील को सुनकर बड़ा ताज्जुब होता है कि इन जिम्मेदार लोगों के द्वारा निभाए जा रहे भाई भतीजावाद यारी दोस्ती के कारण इस तरह के अवैध अतिक्रमण कारियों के हौसले बुलंद हो रहे हैं अगर कोई व्यक्ति सार्वजनिक संपत्ति पर कब्जा कर ले तो उस पर यह दलील दी जाए कि उस संपत्ति की कोई जरूरत नगर पंचायत को नहीं थी या उसके बगैर भी काम चल सकता है इस दलील का का औचित्य क्या है उनकी इस दलील के बाद अगर कोई व्यक्ति नगर पंचायत भवन के अगल-बगल थोड़ी-थोड़ी जमीन खरीद कर उस पर पिलर देकर जहां तक नगर पंचायत कार्यालय की ऊंचाई बनी हुई है  उसके ऊपर विम देकर अपना भवन बना ले तो हो सकता है कि उसे भी यही बताया जाए कि कार्यालय की छत भी सुरक्षित है कार्यालय चल रहा है अगर उसके ऊपर किसी ने भवन बना लिया है तो उससे कोई परेशान होने जैसी बात नहीं है फिलहाल बरसात के दिनों में जलभराव की स्थिति से जूझने वाले हजारों निवासियों तथा बाईपास सड़क के ऊपर से बहने वाले पानी से गुजरने वाले राहगीरों की मांग है की तत्काल प्रभाव से नाले पर बनी उक्त बहुमंजिला इमारत को हटवाया जाए तथा नगर पंचायत की संपत्ति अवैध कब्जे दार से मुक्त कराई जाए यह भी ज्ञात हुआ है कि नगर पंचायत के अंदर सीवर लाइन पड़नी है परंतु उक्त बिल्डिंग के कारण यह लाइन नहीं पड़ पा रही है ।